मंडला - जिले में
बहुचर्चित जनपद पंचायत नैनपुर में एक दैनिक वेतन भोगी 2019 से 2022 एक करोड़
सोलह लाख छप्पन हजार एक रुपए साठ पैसे का गबन किया है। यह कर्मचारी उक्त करोड़ों
की राशि अपने परिवारों और रिश्तेदारों के खातों में ट्रांसफर किए और नैनपुर के कुछ
जागरूक व्यापारियों के खातों में डाली। बता दे कि हाल ही में मुख्य कार्यपालन अधिकारी
जनपद पंचायत विनोद मरावी पदस्थ हुए तो इन्होंने दैनिक वेतन भोगी कम्प्यूटर ऑपरेटर
जितेंद्र जंघेला के खिलाफ 4 सदस्य
जांच समिति बनाई और मामले की जांच करवाई। जिसमें एफआईआर कराने की नौबत आ पड़ी।
जांच में साबित हुआ गबन :
जनपद सीईओ नैनपुर द्वारा इस करोड़ों के गबन के मामले की जांच के लिए
चार सदस्यीय समिति बनाई।
जिसमें विनोद मरावी सीईओ जनपद पंचायत नैनपुर, वंदना कुशराम नायब तहसीलदार
नैनपुर, डीके जैन
श्रम पदाधिकारी मंदिर मंडला, दिलीप
मरकाम लेखाधिकारी मंडला को बनाया गया। जांच के दौरान पाया गया कि 2019 में
दैनिक वेतन भोगी जितेंद्र जंघेला ने शुभम सिंह व अन्य लोगों के खाते में विवाह
मृत्यु अन्य योजनाओं की राशि डाली है। समिति की सिफारिश से पुलिस ने अपराध क्रमांक
137 धारा 420, 467, 468, 471, 409,120 बी 34 दर्ज किया गया है। जिसमें
मुख्य आरोपी जितेंद्र जंघेला व अन्य लोगों को आरोपी बनाया गया। अब ऐसे में सवाल उठ
रहा है कि एक दैनिक वेतन भोगी कम्प्यूटर ऑपरेटर इतने बड़े करोड़ों के घोटालों को
बिना अधिकारियों की मिलीभगत के कैसे अंजाम दे सकता है।
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